भारत की बजाज फाइनेंस ने बुधवार को तीसरी तिमाही में लाभ में वृद्धि दर्ज की, जिसमें त्योहारी सीजन के दौरान मजबूत लोन ग्रोथ का योगदान रहा
इस गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (NBFC) ने 31 दिसंबर को समाप्त तिमाही के लिए ₹4,308 करोड़ ($497.84 मिलियन) का समेकित शुद्ध लाभ दर्ज किया, जो एक साल पहले की तुलना में लगभग 18% अधिक है।
समेकित आंकड़ों में कंपनी की सहायक कंपनियों – बजाज हाउसिंग फाइनेंस और बजाज फाइनेंशियल सिक्योरिटीज के व्यवसाय शामिल हैं।
भारत में अक्टूबर-दिसंबर की अवधि के दौरान कई त्यौहार मनाए जाते हैं, जिनमें लोग कपड़ों से लेकर इलेक्ट्रॉनिक्स तक विभिन्न वस्तुओं पर भारी खर्च करते हैं, जिससे क्रेडिट की मांग बढ़ती है।
बजाज फाइनेंस ने इस तिमाही में 1.206 करोड़ नए लोन बुक किए, जो पिछले साल की तुलना में 22% की वृद्धि है, जबकि शुद्ध ब्याज आय 23% बढ़कर ₹9,382 करोड़ हो गई।
कंपनी की एसेट्स अंडर मैनेजमेंट (AUM) लगभग 28% बढ़कर ₹3.98 लाख करोड़ हो गई, जो विश्लेषकों की उम्मीदों से अधिक थी।
हालांकि, खराब ऋणों को कवर करने के लिए रखे गए प्रावधान (provisions) 64% बढ़कर ₹2,043 करोड़ हो गए।
भारतीय ऋणदाता क्रेडिट कार्ड और पर्सनल लोन जैसे असुरक्षित क्षेत्रों में एसेट क्वालिटी स्ट्रेस से जूझ रहे हैं।
कंपनी का ग्रॉस नॉन-परफॉर्मिंग एसेट (GNP) अनुपात 1.12% हो गया, जो पिछले साल 0.95% था।